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 NPS Annuity: रिटायरमेंट के बाद क्या होता है 40% का ?

2004 में नई पेंशन योजना (NPS) की शुरुआत के बाद, जिसने पुरानी पेंशन प्रणाली (OPS) को प्रतिस्थापित किया, कर्मचारियों के बीच लगातार भ्रम और संदेह बना रहा है। एक आम चिंता यह है कि सेवानिवृत्ति के समय उनके फंड का 40% जो Annuity खरीदने के लिए इस्तेमाल होता है, उसका क्या होता है। कई कर्मचारी गलतफहमी के कारण मानते हैं कि उनकी बचत का यह हिस्सा उन्हें नहीं मिलता है, जिससे यह संदेह उत्पन्न होता है कि क्या एनपीएस वास्तव में उनके लिए फायदेमंद है।

 एनपीएस कैसे काम करता है?

एनपीएस को इस तरह से डिजाइन किया गया है कि यह कर्मचारियों को उनके सेवानिवृत्ति के लिए सुरक्षित पेंशन प्रणाली प्रदान करता है। यह प्रक्रिया इस प्रकार है: कर्मचारी अपनी तनख्वाह का 10% एनपीएस खाते में योगदान करते हैं, और सरकार इसके अतिरिक्त 14% योगदान करती है। ये संयुक्त योगदान विभिन्न वित्तीय साधनों में निवेश किए जाते हैं, जिनमें शेयर, बॉन्ड और सरकारी प्रतिभूतियां शामिल हैं, ताकि सेवानिवृत्ति की बचत को बढ़ाया जा सके।

जब एक कर्मचारी सेवानिवृत्त होता है, तो उनके एनपीएस खाते में जमा कुल राशि (जिसे कॉर्पस कहते हैं) दो हिस्सों में विभाजित की जाती है:

1. 60% एकमुश्त राशि: कर्मचारी को कुल कॉर्पस का 60% एकमुश्त भुगतान के रूप में मिलता है। यह राशि कर मुक्त होती है और सेवानिवृत्त व्यक्ति इसे अपनी आवश्यकताओं के अनुसार उपयोग कर सकता है।

2. 40% Annuity खरीद: बाकी 40% का उपयोग Annuity खरीदने के लिए किया जाता है। Annuity एक ऐसा निवेश होता है जो सेवानिवृत्ति के बाद नियमित आय (मासिक पेंशन) प्रदान करता है, जो सेवानिवृत्त व्यक्ति के जीवनभर चलता है।

 Annuity को समझना

इस प्रक्रिया को समझने के लिए एक उदाहरण लेते हैं। मान लीजिए कि किसी कर्मचारी के एनपीएस खाते में सेवानिवृत्ति के समय कुल 3 करोड़ रुपये जमा हैं। इसमें से उसे 1.80 करोड़ रुपये (जो 60% है) एकमुश्त राशि के रूप में मिलते हैं। शेष 1.20 करोड़ रुपये (जो 40% है) से Annuity खरीदी जाती है।

यह Annuity एक नियमित आय प्रदान करती है। अगर Annuity पर 6% की वार्षिक ब्याज दर मानी जाए, तो यह 1.20 करोड़ रुपये की Annuity सेवानिवृत्त व्यक्ति को लगभग 60,000 रुपये की मासिक पेंशन देगी। यह पेंशन तब तक मिलती रहेगी जब तक सेवानिवृत्त व्यक्ति जीवित रहता है, जिससे उसकी सेवानिवृत्ति के बाद की आर्थिक सुरक्षा सुनिश्चित होती है।

 40% की राशि एकमुश्त क्यों नहीं दी जाती?

सरकार ने एनपीएस को इस प्रकार डिजाइन किया है ताकि सेवानिवृत्ति के बाद सेवानिवृत्त व्यक्तियों के पास एक विश्वसनीय आय का स्रोत बना रहे। यदि पूरी राशि एकमुश्त दे दी जाती, तो सेवानिवृत्त व्यक्ति इसे जल्दी ही खर्च कर सकते थे, जिससे उनके पास जीवन के बाद के वर्षों के लिए कोई नियमित आय न रहती। कॉर्पस के 40% का Annuity खरीदने में उपयोग करके, एनपीएस यह सुनिश्चित करता है कि सेवानिवृत्त व्यक्तियों को हर महीने पेंशन मिले, जिससे वे अपने वित्तीय प्रबंधन को लंबे समय तक सुचारू रूप से चला सकें।

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 क्या 40% Annuity की राशि कभी वापस मिलती है?

कर्मचारियों के बीच एक आम सवाल यह है कि क्या Annuity के लिए इस्तेमाल की गई 40% राशि कभी वापस मिलती है। यूपी टीचर्स एसोसिएशन (ATETWA) के राज्य सलाहकार डॉ. आनंदवीर सिंह के अनुसार, इसका उत्तर हां है, लेकिन कुछ विशेष परिस्थितियों में।

यह प्रक्रिया इस प्रकार है: जब तक सेवानिवृत्त व्यक्ति जीवित रहता है, उसे Annuity से मासिक पेंशन मिलती रहती है। अगर सेवानिवृत्त व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है, तो यह पेंशन उसके नामित व्यक्ति (जैसे जीवनसाथी) को मिलती रहती है। हालांकि, यदि सेवानिवृत्त व्यक्ति और उसका नामित व्यक्ति दोनों का निधन हो जाता है, तो शेष Annuity राशि एकमुश्त भुगतान के रूप में उनके कानूनी उत्तराधिकारियों को वापस कर दी जाती है।

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 निष्कर्ष

सारांश में, एनपीएस के तहत Annuity खरीदने के लिए इस्तेमाल की गई 40% सेवानिवृत्ति राशि सरकार द्वारा नहीं रखी जाती । इसके बजाय, यह सेवानिवृत्त व्यक्ति को जीवनभर नियमित आय प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। हालांकि यह राशि शुरुआत में एकमुश्त उपलब्ध नहीं होती, लेकिन यह सेवानिवृत्ति के बाद की वित्तीय सुरक्षा सुनिश्चित करती है। इसके अलावा, यदि सेवानिवृत्त व्यक्ति और उसका नामित व्यक्ति दोनों का निधन हो जाता है, तो शेष Annuity राशि उनके उत्तराधिकारियों को वापस कर दी जाती है, जिससे यह स्पष्ट होता है कि यह राशि सरकार द्वारा नहीं रखी जाती, बल्कि अंततः सेवानिवृत्त व्यक्ति के परिवार को वापस की जाती है। इस प्रक्रिया को समझने से एनपीएस के वास्तविक लाभों को स्पष्ट किया जा सकता है और इसके इर्द-गिर्द बने मिथकों और भ्रम को दूर किया जा सकता है।

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